हर महीने दस लोगों की हो रही है मौत, 700 गौशालाओं का बजट महज 50 करोड़
फतेहाबाद, 29 जुलाई: हरियाणा में बेसहारा पशु संकट बने हुए हैं। आए दिन बेसहारा पशुओं की वजह से सडक़ हादसे हो रहे हैं। दो दिन पहले हरियाणा के बहादुरगढ़ में एक बेसहारा सांड ने एक बुजुर्ग महिला को टक्कर मार दी। बहादुरगढ़ के लाइनपार क्षेत्र के जौहरी नगर में सांड की टक्कर से दो दिन पहले जख्मी हुई बुजुर्ग महिला ने दम तोड़ दिया। घटना से मृतका के स्वजनों व नागरिकों में प्रशासन के प्रति आक्रोश व्याप्त है। प्रशासन के प्रति गुस्सा इसलिए है कि शहर में बेसहारा गोवंश का प्रबंधन नहीं हो रहा है। इसी कारण शहर में घूमते सांड कुछ साल के अंदर आठ से ज्यादा लोगों की जान ले चुके हैं। हरियाणा में यह बेसहारा पशु लगातार हादसों का पर्याय बन रहे हैं। सरकारी आंकड़े के अनुसार ही हरियाणा में हर महीने बेसहारा पशुओं की वजह से होने वाले हादसों में 10 लोगों की जान जा रही है। यह सब तब है जब हरियाणा में सबसे अधिक गौशालाएं हैं। हरियाणा के 22 जिलों में 700 से अधिक गौशालाएं हैं। इसके बावजूद भी सडक़ों पर पांच लाख से अधिक बेसहारा पशु हैं। इन बेसहारा पशुओं के कारण हर रोज सडक़ हादसे हो रहे हैं। पानीपत के आरटीआई कार्यकत्र्ता पीपी कपूर की ओर से कुछ साल पहले आरटीआई के जरिए जुटाई गई जानकारी के अनुसार फरवरी 2018 से लेकर मार्च 2020 तक हरियाणा में बेसहारा पशुओं के कारण 241 लोगों की मौत हो गई। कोढ़ में खाज यह है कि हरियाणा में 700 गौशालाएं हैं और गौसेवा आयोग का वार्षिक बजट महज 50 करोड़ रुपए है। सिरसा में सबसे अधिक 142 गौशालाएं हैं, जहां पर करीब 55 हजार गौवंश है। इसी प्रकार से फतेहाबाद जिला में 62 से अधिक गौशालाओं में करीब 35 हजार गौवंश है।