हरियााणा में बीजेपी ने तोड़ा जेजेपी से नाता, सुबह मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने केबिनेट सहित दिया राज्यपाल को इस्तीफा, शाम को कुरुक्षेत्र से सांसद नायाब सैनी ने पांच मंत्रियों सहित ली मुख्यमंत्री पद की शपथ
आरके सेठी
चंडीगढ़, 12 मार्च। हरियाणा में आज बड़ा सियासी फेरबदल हो गया। फैसले से पहले किसी को कानों-कान खबर तक नहीं हुई और बीजेपी ने हरियाणा में वजीर-बादशाह बदल डाले। बीजेपी ने अचानक न सिर्फ जननायक जनता पार्टी से अपना रिश्ता तोड़ लिया बल्कि मुख्यमंत्री पद से मनोहर लाल की भी विदाई कर दी।
सुबह से शुरू हुआ घटनाक्रम शाम तक सांसद नायाब सैनी के रूप में हरियाणा को नया सीएम दे गया। दिनभर चले सियासी तूफान में कयासों-कहानियों ने हरियाणा के लोगों में कौतुहल बनाए रखा। आज शाम को नये मुख्यमंत्री नायाब सैनी के साथ मनोहर सरकार में मंत्री रहे पांच विधायकों को फिर से मंत्री पद की शपथ दिलाई गई।
इससे पहले, सुबह अचानक से हुए घटनाक्रम में मंत्रिमंडल की बैठक बुलाई गई। बैठक के बाद मनोहर लाल ने केबिनेट सहित अपना इस्तीफा राज्यपाल को सौंपा। दोहपर में बीजेपी विधायक दल की बैठक हुई। बैठक में कुरुक्षेत्र से सांसद नायाब सैनी को विधायक दल का नेता चुना गया। दोहपर बाद, नायाब सैनी ने राज्यपाल के सामने सरकार बनाने का दावा पेश किया। शाम को नायाब सैनी ने मुख्यमंत्री पद की शपथ ली। उनके साथ ही मनोहर सरकार में केबिनेट मंत्री रहे एवं छछरौली से विधायक कंवरपाल गुर्जर, बल्लभगढ़ से विधायक मूलचंद शर्मा, रानियां से निर्दलीय विधायक रणजीत सिंह चौटाला, लोहारू से विधायक जेपी दलाल और बावल से विधायक डॉ.बनवारी लाल ने भी फिर से मंत्री पद की शपथ ली।
इसी बीच, सभी निर्दलीयों विधायकों से नये सिरे से बीजेपी को समर्थन दिलवाया और जेजेपी के भी पांच विधायकों को सरकार की ही पनाह में रहने की स्थिति स्पष्ट कर ली गई थी। आज हुए घटनाक्रम को मुख्य तौर पर दो बड़े कारणों से जोड़ कर देखा जा रहा है। पहला यह कि बीजेपी ने जेजेपी से नाता तोडऩा ही था, यह साफ था और दूसरा कारण यह कि बीजेपी मनोहर लाल के कार्यकाल से संतुष्ट तो भले ही थी लेकिन अब लोकसभा और विधानसभा चुनाव के मद्देनजर सीएम का चेहरा बदलना उसे कई अर्थों में फायदेमंद लगा।